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राज पढियार को युवा उद्यमी का राष्ट्रीय स्तर का पुरस्कार

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- विकास यादव 

इंदौर। कहते हैं कि 'ईश्वर या किस्मत उस व्यक्ति का साथ जरूर देते हैं, जो अपनी मदद खुद करता है।' डिजिटल गुरुकुल के फाउंडर और डायरेक्टर 'राज पढियार' के मामले में यह बात खरी उतरती है।
 
हाल ही में 'येफोरम' द्वारा 'एजुकेशन एंड कंसल्टिंग' कैटेगरी में राष्ट्रीय स्तर पर 'यंग आंत्रप्रेन्योर ऑफ द ईयर-2017' का पुरस्कार प्राप्त करने वाले राज मानते हैं कि मन में दृढ़ विश्वास और लगन हो तो सफलता पाने से आपको कोई नहीं रोक सकता। यही विश्वास वे डिजिटल मार्केटिंग के क्षेत्र में प्रशिक्षण के जरिए अन्य लोगों के जीवन में भी जगाना चाहते हैं। मुंबई से अपनी संपूर्ण शिक्षा प्राप्त करने वाला मात्र 27 वर्ष का यह युवक कुछ सपनों को साथ लेकर एक रास्ते पर चला और अब उन सपनों को पूरा होते हुए भी देख रहा है।
 
खुद राज के शब्दों में- 'इंदौर शहर संभावनाओं से भरपूर है। यह एक स्टार्टअप हब होने के साथ ही एजुकेशन के स्तर पर भी अग्रणी है। यही कारण है कि मैंने इस जगह को अपने काम के लिए चुना और इस तरह करीब ढाई साल पहले 'डिजिटल गुरुकुल' की स्थापना हुई। मैं इस फील्ड से 5 वर्षों से भी अधिक समय से जुड़ा हूं। चूंकि आने वाला समय पूरी तरह डिजिटल होगा, इसी बात को ध्यान में रखते हुए मैंने इस प्लेटफॉर्म को चुना। जाहिर है रिस्क बड़ा था, क्योंकि मैं अपने काम के लिए पैरेंट्स या परिचितों से कोई आर्थिक मदद नहीं लेना चाहता था। मेरे पैरेंट्स और अपनों का आशीर्वाद हमेशा मेरे साथ रहा और मैंने अपने दम पर इस चुनौती को स्वीकार करने का निर्णय लिया। आज यह सफलता मुझे आगे और भी चुनौतियों को स्वीकार करने का हौसला देती है।'
 
उल्लेखनीय है कि 'डिजिटल गुरुकुल' एक एजुकेशनल इंस्टीट्यूट है, जो डिजिटल मार्केटिंग से संबंधित जानकारी और शिक्षा प्रदान करता है। इसके अंतर्गत 4 डिप्लोमा कोर्सेस संचालित किए जाते हैं। कोर्सेस के साथ ही विशेषतौर पर इंडस्ट्री विजिट तथा बड़ी संस्थाओं/ उद्योगों में इंटर्नशिप की सुविधाएं भी प्रदान की जाती हैं तथा कोर्स पूरा करने पर जॉब प्लेसमेंट भी सुनिश्चित किया जाता है।
 
इन कोर्सेस में प्रवेश के इच्छुक व्यक्ति का मात्र 12वीं पास होना आवश्यक है लेकिन इन कोर्सेस से मिलने वाली जानकारी और अनुभव इतना महत्वपूर्ण है कि विभिन्न प्रोफेशनल्स के अलावा कॉलेज के विद्यार्थी, स्टार्टअप प्रारंभ करने के इच्छुक युवा तथा शासकीय स्तर के अधिकारी/कर्मचारी भी इसमें भाग ले रहे हैं।
 
राज अब तक ऐसे 5,000 से भी अधिक लोगों को प्रशिक्षण दे चुके हैं और ये लोग भारतभर में बड़ी संस्थाओं से जुड़कर काम कर भी कर रहे हैं। वे अकेले ही इस ट्रेनिंग से लेकर अलग-अलग स्थानों पर सेमिनार संचालित करने, काउंसिलिंग करने आदि जैसे कार्य भी संभालते हैं।
 
राज ने अपने मजबूत इरादों और शिक्षा का सकारात्मक उपयोग कर न केवल अपने भविष्य के रास्ते को सुनहरा बनाया, बल्कि वे बहुत कम उम्र में हर उस व्यक्ति के लिए प्रेरणा बने, जो सपने देखने और उन्हें पूरा करने में यकीन रखता है।
 
राज और डिजिटल गुरुकुल को शानदार परफॉर्मेंस के लिए विभिन्न पुरस्कार और सम्मानों से नवाजा जा चुका है। इनमें सिलिकॉन इंडिया मैगजीन द्वारा 'बेस्ट इमर्जिंग स्टार्टअप ऑफ 2016' और इसी वर्ष 'बेस्ट स्टार्टअप इन डिजिटल एजुकेशन' में भारतभर में चौथा स्थान हासिल करने जैसे गौरव भी राज को प्राप्त हुए।
 
आईएएमएआई (IAMAI) एडटेक कमेटी ने राज को कोर मेंबर के तौर पर नियुक्त किया। इन सबके अतिरिक्त विभिन्न मैग्जीन्स, अखबारों तथा रेडियो जैसे साधनों के जरिए उनके प्रयासों की सराहना भी की गई। राज इस बात में विश्वास रखते हैं कि यदि आपके मन में सपनों को पूरा करने का जज्बा हो, तो कोई भी बाधा आपको रोक नहीं सकती। आज की पीढ़ी में वो सब काबिलियत है, जो आगे बढ़ने के लिए जरूरी है। जरूरत है तो बस सही दिशा-निर्देशन की। अगर आप मन में ठान लेते हैं तो सफलता जरूर आपके पास आती है।

साभार- अवनि पब्लिक रिलेशन 

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